हनुमान जन्मोत्सव पर दिल्ली के जहांगीरपुरी में हुए दंगे पर NDMC द्वारा अवैध अधिक्रमण को हटाने का फैसला किया गया कि, दंगे वाली जगह के 100 मीटर तक जो भी अवैध अधिक्रमण है उसे हटाने का फैसला लिया गया। और आज सुबह NDMC के अधिकारी अधिक्रमण हटाना शुरू हो गया था लेकिन सुप्रीम कोर्ट के खलल के बाद करवाई रूक है। इस करवाई को लेकर राहुल गांधी भड़के हुए है। उन्होंने बीजेपी सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि, ‘यह भारत के संवैधानिक मूल्यों का विध्वंस है। यह गरीबों और अल्पसंख्यकों को राज्य द्वारा निशाना बनाया जाना है। बीजेपी को इसकी बजाय अपने दिलों में मौजूद नफरत पर बुलडोजर चलाना चाहिए।’ बता दें कि बुधवार को एनडीएमसी ने कुछ घंटों तक अतिक्रमण विरोधी कार्रवाई की थी।
This is a demolition of India’s constitutional values.
This is state-sponsored targeting of poor & minorities.
BJP must bulldoze the hatred in their hearts instead. pic.twitter.com/ucSJK9OD9g
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) April 20, 2022
सुप्रीम कोर्ट ने यथास्थिति बनाए रखने के दिए निर्देश।
इस बीच सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को प्रशासन के इस अतिक्रमण रोधी अभियान पर रोक लगा दी। कोर्ट ने दंगे के आरोपियों के खिलाफ कथित तौर पर लक्षित नगर निकायों की कार्रवाई को चुनौती देने वाली याचिका भी सुनवाई के लिए स्वीकार कर ली। चीफ जस्टिस एनवी रमण की अध्यक्षता वाली पीठ ने मौजूदा हालात में यथास्थिति बनाए रखने के निर्देश दिए। उसने कहा कि याचिका को उचित पीठ के समक्ष सूचीबद्ध किया जाएगा। वरिष्ठ अधिवक्ता दुष्यंत दवे ने NDMC और PWD सहित अन्य नगर निकायों के विशेष अतिक्रमण रोधी अभियान के खिलाफ दायर एक याचिका का जिक्र किया।
संबित पात्रा ने NDMC के कार्रवाई की जमकर सराहना किया।
एक चैनल में डिबेट में हिस्सा लेने पहुंचे संबित पात्रा ने जहांगीरपुरी में NDMC के अतिक्रमण विरोधी अभियान का जमकर समर्थन किया। एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि बुलडोजर अतिक्रमण के ऊपर चला है। अतिक्रमण का मतलब है जिसने कानून का अतिक्रमण किया। संविधान में प्रावधान है कि ऐसा करने वालों के खिलाफ बुलडोजर चले। ऐसे अतिक्रमण को ध्वस्त किया जाए। इस तरह यह जायज कानूनी कार्रवाई है। इसके बाद पात्रा ने कहा कि जहां तक राहुल गांधी इत्यादि…इत्यादि….इत्यादि… का सवाल है तो यह विडंबना है कि भारतीय जनता पार्टी को कठघरे में खड़ा किया जा रहा है। बीजेपी तब भी सवालों के घेरे में खड़ी थी जब (जम्मू-कश्मीर से) अनुच्छेद 370 को हटाया गया था। जब हमने पाकिस्तान के ऊपर सर्जिकल स्ट्राइक की तब भी हम सवालों के घेरे में खड़े थे। याकूब मेनन को जब फांसी दी जा रही थी तब बीजेपी सवालों के घेरे में खड़ी थी। तब यही राहुल गांधी कह रहे थे कि उसे फांसी इसलिए दी जा रही है क्योंकि वह मुसलमान है। आतंकी बुरहान वानी को जब सेना ने मार गिराया तब भी हम सवालों के घेरे में खड़े हुए थे। उस वक्त भी हमें सवालों के घेरे में खड़ा किया गया जब बीजेपी सरकार पत्थरबाजों के खिलाफ ऐक्शन ले रही थी। तब राहुल गांधी ने इन्हें भटके हुए बच्चे बताया था।पात्रा आगे बोले कि अफजल गुरु के खिलाफ कार्रवाई के दौरान भी हमें ही सवालों के घेरे में खड़ा किया गया। तब यही राहुल गांधी कह रहे थे – अफजल हम शर्मिंदा हैं तेरे कातिल जिंदा हैं। ये राहुल गांधी को कौन सीरियसली लेता है। राहुल गांधी तो खुद एक अतिक्रमण हैं कांग्रेस के ऊपर। आज कांग्रेस के अंदर से आवाज उठ रही है कि कोई तो बुलडोज करो इस राहुल गांधी को तब जाकर कांग्रेस का कोई भला होगा। इसलिए अच्छा होगा कि राहुल गांधी का सवाल उनसे न पूछा जाए। बीजेपी प्रवक्ता से पूछा गया था कि क्या बीजेपी सरकार चुनचुनकर एक खास वर्ग को निशाना बना रही है। मैसेज तो यही जा रहा है। इस दौरान राहुल की प्रतिक्रिया का भी जिक्र किया गया। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने आरोप लगाया कि दिल्ली और मध्य प्रदेश के हिंसा प्रभावित इलाकों में अतिक्रमण रोधी अभियान के तहत देश के संवैधानिक मूल्यों को ध्वस्त किया गया है। उन्होंने यह भी कहा कि बीजेपी को अपने दिल में बैठी नफरत को ध्वस्त करना चाहिए।
ओवैसी ने भी जाहिर की नाराजगी।
दिल्ली के जहांगीरपुरी में अवैध मकानों को हटाने के लिए चले बुलडोजर पर एआईएमआईएम चीफ ओवैसी ने भारी नाराजगी जाहिर की है। ओवैसी कहते है कि, अगर वो दुकान और मकान अधिकृत थे तो वो 7 साल से बीजेपी सरकार क्यों सो रही थी। आपने समुदाय को निशाना बना कर उनकी दुकानों और मकानों को तोड़ रहे है। कौन अपराधी है ये कोर्ट फैसला करेगा। आपने मस्जिद के सामने के दुकानों को तोड़ दिया लेकिन मंदिर के सामने को दुकानों को नही तोड़ा। वो इसलिए क्यूंकि आपका मकसद ही है एक समुदाय को निशाना बनाना और मैं इसकी निंदा करता हूं मैं कोर्ट का शुक्रगुजार हूं की उनसे इस पर रोक लगाया।